चंपावत। उत्तराखंड के कुमाऊं मंडल के चंपावत में बारिश के कारण हुए भूस्खलन से मैदानी क्षेत्र से पहाड़ को जोड़ने वाला चंपावत-टनकपुर राष्ट्रीय राजमार्ग बंद हो गया है। इस समय मंडल में कुल 24 ग्रामीण सड़कें बंद हैं। कुमाऊं के पहाड़ी इलाकों में रूक रूक कर बारिश हो रही है, जिससे चंपावत जनपद के स्वाला में चंपावत-टनकपुर राष्ट्रीय राजमार्ग पर शनिवार देर रात को भूस्खलन शुरू हो गया। देखते-देखते मार्ग पर भारी मलबा आ गया, जिससे मार्ग पर आवागमन बंद हो गया है। जिससे लंबी दूरी के वाहन फंस गये।
प्रशासन भी तुरंत हरकत में आया और जेसीबी मशीनों को मलबा हटाने में लगा दिया गया। स्वाला में युद्धस्तर पर मलबा हटाने का कार्य चल रहा है। भूस्खलन के चलते चंपावत, पिथौरागढ़ तथा नैनीताल जनपद में कुल 24 सड़कें बंद हैं। इनमें अधिकांश गांवों को जोड़ने वाले मार्ग है। नैनीताल-भवाली राजमार्ग अभी बंद हैं। पिछले महीने 29 जुलाई को पाइंस के पास भूस्खलन होने और सड़क का बड़ा हिस्सा ढहने से सड़क पर यातायात बंद हो गया था। प्रशासन की ओर से मार्ग को खोलने के लिये युद्धस्तर पर कार्य किया जा रहा है। विशेष बात यह है कि चीन सीमा को जोड़ने वाले सभी बार्डर मार्ग यातायात के लिये खुले हैं। पिथौरागढ़ में सबसे अधिक 12 सड़कें भूस्खलन के चलते बंद हैं। इसी प्रकार बागेश्वर में 7 तथा नैनीताल में 5 मार्ग ठप पड़े हैं। कुमाऊं मंडल में सभी नदियों उफान पर हैं।