हल्द्वानी। पर्वतीय सांस्कृतिक उत्थान मंच से उत्तरायणी मेले के तहत रविवार को नगर में भव्य सांस्कृतिक जुलूस निकाला गया। जुलूस में बुजुर्ग, महिलाएं और बच्चे उत्साह से शामिल हुए। छोटे बच्चे काले कौआ काले घुघुति माला खाले जैसे उद्घोष कर रहे थे। इस दौरान एक से बढ़कर एक देवी देवताओं की झांकियों ने सांस्कृतिक जुलूस में चार चांद लगा दिए। जुलूस में शामिल हजारों लोगों ने कुमाऊं की उच्च और स्वस्थ सांस्कृतिक परंपरा को जीवंत बना दिया। सांस्कृतिक जुलूस को देखने के लिए शहर में सभी स्थानों पर सड़क के दोनों ओर लोगों की कतार लगी थी। लोगों ने पुष्पवर्षा के साथ सांस्कृतिक जुलूस का स्वागत किया। सांस्कृतिक जुलूस में सबसे आगे गोलज्यू की धर्म ध्वजा चल रही थी। धर्म ध्वजा के नेतृत्व में निकले सांस्कृतिक जुलूस के पीछे मंच के संस्थापक अध्यक्ष बलवंत सिंह चुफाल, राष्ट्रीय तिरंगा और फिर झांकियां चल रही थीं।
पारंपरिक रंगाली पिछोड़ा में सजी धजी महिलाएं खोल दे माता खोल भवानी धार में किवाड़ झोड़ा गायन करते हुए चल रहीं थीं। पर्वतीय सांस्कृतिक उत्थान मंच परिसर से निकले सांस्कृतिक जुलूस का विभिन्न संप्रदाय के लोगों ने खीर, खिचड़ी, आलू, पूरी, पानी आदि से स्वागत किया। अन्य धर्मों ने जुलूस की सेवा कर सांप्रदायिक एकता का परिचय दिया। छोलिया नूतक दलों ने आकर्षक प्रस्तुति दी। इस दौरान संरक्षक हुकुम सिंह कुंवर, अध्यक्ष खडक सिंह बगड़वाल, उपाध्यक्ष गोपाल सिंह बिष्ट, महासचिव यूसी जोशी, सचिव देवेंद्र तोलिया, कोषाध्यक्ष त्रिलोक बनोली, शोभा विष्ट, पुष्पा संभाल, चंद्रशेखर परगाई, कमल किशोर, कमल जोशी, संदीप पैसोड़ा, मीमांशा आर्य, सांस्कृतिक संगोजक मंजू विष्ट दान, खेल संयोजक लक्ष्मण सिंह मेहरा, मेला संयोजक पुरन भंडारी, हेम भट्ट, तरुण नेगी, ललित विष्ट, रितिक आर्य, धर्म सिंह विष्ट, नीरज बगड़वाल, यशपाल टम्टा आदि समते सैकड़ो लोग मौजूद रहे।