देहरादून/हल्द्वानी। उत्तराखंड सरकार ने नाबालिग के यौन शोषण की झूठी खबर की पुष्टि होने के बाद हल्द्वानी स्थित जिला बाल संप्रेक्षण गृह की अनुसेवक दीपा आर्य और महिला होमगार्ड गंगा सिंह का निलंबन शुक्रवार को वापस ले लिया। केबिनेट मंत्री रेखा आर्य की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि जांच रिपोर्ट में संप्रेक्षण गृह की किशोरी के यौन शोषण की खबर झूठी निकली है। किशोरी ने अपने घर जाने के लिये यौन शोषण की झूठी कहानी गढ़ी। पुलिस और विभागीय जांच में झूठी खबर की पुष्टि हो गयी है। किशोरी की मेडिकल रिपोर्ट में भी दुष्कर्म की पुष्टि नहीं हुई है। जारी बयान में कहा गया है कि दोनों का निलंबन तत्काल प्रभाव से वापस ले लिया गया है।
यहां बता दें कि हल्द्वानी संप्रेक्षण गृह की एक नाबालिग ने एक पखवाड़ा पहले अपने साथ दुष्कर्म का आरोप लगाया था। उसने बाल कल्याण समिति के समक्ष आरोप लगाया कि संप्रेषण गृह की अनुसेवक और होमगार्ड उसे बाहर ले जाते हैं और उसका यौन शोषण करवाते हैं। इस खबर के सामने आने के बाद शासन और प्रशासन सकते में आ गये। आनन-फानन में हल्द्वानी कोतवाली में आरोपियों के खिलाफयौन शोषण संरक्षण अधिनियम (पोक्सो) के तहत अभियोग पंजीकृत कर लिया गया। इसके साथ ही सुश्री आर्य को महिला निदशायल ने निलंबित कर दिया और महिला होमगार्ड को तत्काल प्रभाव से हटाने के निर्देश दे दिये। साथ ही प्रकरण की विभागीय जांच बैठा दी गयी। पुलिस की ओर से भी इस प्रकरण की अलग से जांच की गयी।