देहरादून। उत्तराखंड पुलिस की STF ने साल 2025 की शुरुआत में एक और बड़ी कार्रवाई करते हुए एक राष्ट्रीय साइबर ठगी गिरोह का पर्दाफाश किया। STF की साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन ने इस गिरोह के 2 आरोपियों को दिल्ली से गिरफ्तार किया, जबकि 4 अन्य को नोटिस जारी किए हैं। यह कार्रवाई एक देहरादून निवासी पीड़ित की शिकायत के आधार पर की गई, जिससे naukri.com के नाम पर लगभग 23 लाख रुपये की ठगी की गई थी। ठगों ने पीड़ित से ऑनलाइन जॉब दिलाने के नाम पर दस्तावेज़ सत्यापन, जॉब सिक्योरिटी, वीजा प्रोसेसिंग और इंटरव्यू शुल्क के बहाने पैसे ऐंठे। उन्होंने नामी कंपनियों से मिलती-जुलती फर्जी ईमेल आईडी और WhatsApp नंबरों का इस्तेमाल किया। ठगों ने Skype पर इंटरव्यू लेकर पीड़ित को फंसाया और करीब 23 लाख रुपये अपने बैंक खातों में ट्रांसफर करवा लिए।
STF ने गहन जांच और डिजिटल साक्ष्यों के आधार पर रवि ढींगरा (ग्रेटर नोएडा निवासी) और हरपाल सिंह (पश्चिम दिल्ली निवासी) को गिरफ्तार किया। उनके कब्जे से 17 मोबाइल फोन, 3 लैपटॉप और दर्जनों सिम कार्ड बरामद किए गए। इससे पहले तीन अन्य मुख्य आरोपियों अलमास आजम, अनस आजम और सचिन अग्रवाल को भी गिरफ्तार किया जा चुका है। यह गिरोह नौकरी की तलाश करने वालों को टेलीग्राम, WhatsApp और फर्जी ईमेल के जरिए टारगेट करता था। ठगी के बाद धनराशि को USDT क्रिप्टो करेंसी में बदलकर विदेशी खातों में ट्रांसफर किया जाता था। जांच में दुबई, चीन और पाकिस्तान के साइबर ठगों से संपर्क की बात सामने आई है।

वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक नवनीत सिंह ने जनता से अपील की है कि वे अज्ञात कॉल और लालच भरे ऑफर्स से बचें। फर्जी वेबसाइटों और जॉब ऑफर्स की सत्यता जांचे बिना किसी को अपने दस्तावेज़ साझा न करें। यदि किसी को ठगी का शिकार होने का शक हो, तो तुरंत 1930 पर शिकायत दर्ज कराएं। उत्तराखंड STF साइबर अपराध के खिलाफ अपनी सतर्कता और कार्रवाई जारी रखे हुए है, जिससे ठगी के ऐसे मामलों में बड़ी सफलता मिल रही है।






