रुद्रपुर। उत्तराखंड की ऊधम सिंह नगर पुलिस ने सितारगंज में 10 वर्ष पूर्व हुई हत्या की गुत्थी सुलझा ली है और पूरे घटनाक्रम के मास्टर माइंड एवं कुख्यात अपराधी को गिरफ्तार कर लिया है। एसएसपी टीएस मंजूनाथ के अनुसार ऊधम सिंह नगर के सितारगंज निवासी गैंगस्टर मुकेश यादव एक शातिर किस्म का अपराधी है। वह उप्र पुलिस में होमगार्ड था और मुरादाबाद में तैनाती के दौरान घूस लेने और आपराधिक वृत्ति के चलते उसे पुलिस महकमे से बर्खास्त कर दिया गया। इसके बाद वह अपराध की दुनिया में शामिल हो गया और उसने अपना दबदबा कायम कर लिया। उप्र के मुरादाबाद में उसके खिलाफ कई अभियोग दर्ज हो गये। उसके घर पुलिस आने जाने लगी। जिससे वह और उसके परिजन परेशान होने लगे। इसके बाद उसने इससे बाहर निकलने के लिये एक बेहद सनसनीखेज योजना बनायी। उसने अपने कदकाठी के अपने गांव के ही मनिंदर उर्फ मनी को पैसे का झांसा देकर अपने जाल में फंसा लिया और घटना के दिन 29 जुलाई 2015 को उसे मुरादाबाद बुला लिया।
योजना के मुताबिक वह उसे अपनी कार से रूद्रपुर ले आया। यहां उसने मनिंदर को खूब शराब पिलायी और अपने परिचित हैप्पी के साथ मिल कर उसने रात के सुनसान में एक सुनसान जगह में पत्थर से मार कर उसकी हत्या कर दी। इसके बाद उसने इसे सड़क दुर्घटना का रूप देने के लिये शव को चलते ट्रक के पीछे टायर के नीचे डाल दिया। साथ ही मोटर साइकिल को भी पास में छोड़ कर फरार हो गया। इसके साथ ही मृतक के जेब में अपने आधार कार्ड, अपने परिजनों के मोबाइल नंबर लिखी एक डायरी भी डाल दी।
आरोप है कि अगले दिन उसके परिजनों ने उसकी शिनाख्त मुकेश यादव के रूप में की। इसके बाद योजना के मुताबिक पोस्टमार्टम और मृत्यु प्रमाण पत्र भी मुकेश यादव के नाम से बन गया। इसके बाद मुकेश यादव जिते जी मर गया। आरोपी उप्र के शाहजहां पुर में मुनेश यादव के नाम से रहने लगा। बकायदा आरोपी ने अपने आधार कार्ड और ड्राइविंग लाइसेंस और अन्य दस्तावेज भी इसी नाम से बना लिये।
इसी बीच शाहजहांपुर पुलिस ने आरोपी को किसी मामले में गिरफ्तार कर लिया। आरोपी ने पुलिस को पूरी कहानी बता दी। बस यहीं से आरोपी के बुरे दिन शुरू हो गये।
इसी बीच गाड़ी चोरी के मामले में जेल में बंद मृतक मनिंदर का भाई मोनू यादव जब बाहर आया तो उसने सितारगंज पुलिस को मृतक के लापता होने के बारे में तहरीर सौंपी।
पुलिस ने सितारगंज में अभियोग पंजीकृत कर जांच शुरू कर दी। एसएसपी की ओर से मामले की गंभीरता को देखते हुए एसटीएफ को जांच सौंपी गयी। एसटीएफ ने इस पूरे घटनाक्रम के मास्टर माइंड और शातिर अपराधी मुकेश यादव और उसके भाई धर्मपाल को गिरफ्तार कर लिया। उनसे सख्ती से पूछताछ की गयी तो आरोपी ने बताया कि वह अपने खिलाफ दर्ज मुकदमों को खत्म करवाना चाहता था। इसलिये उसने पूरा घटनाक्रम रचा। इसमें उसके भाई धर्मपाल ने भी साथ दिया। पुलिस इस मामले में उसके परिजनों की भूमिका की जांच भी कर रही है। श्री मंजूनाथ के अनुसार आरोपी के खिलाफ मुरादाबाद जिले में विभिन्न अभियोगों में नौ मुकदमे दर्ज हैं। उसके भाई का धर्मपाल का भी आपराधिक इतिहास है और उसके खिलाफ मूढा पांडे और शाहजहां पुर में दो मुकदमें दर्ज हैं। एसएसपी ने मामले का खुलासा करने वाली टीम को 2500 रुपये के ईनाम देने की घोषणा की है।