हल्द्वानी एक्सप्रेस न्यूज़/नैनीताल। उत्तराखंड के हरिद्वार में नाबालिग की दुष्कर्म के बाद हत्या के मामले में फांसी की सजा पाये अभियुक्त रामतीरथ यादव की सजा की पुष्टि के लिये मामला अब उच्च न्यायालय पहुंच गया है। कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश संजय कुमार मिश्रा व न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे की युगलपीठ ने इस मामले की सुनवाई करते हुए रजिस्ट्रार कार्यालय से इस मामले में दो सप्ताह में जवाब पेश करने को कहा है।
हरिद्वार में वर्ष 2020 में एक नाबालिग की दुष्कर्म के बाद निर्मम हत्या का मामला सामने आया था। ऋषिकुल कालोनी के एक मकान से नाबालिग का शव बरामद हुआ था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में नाबालिग के साथ दुष्कर्म की पुष्टि हुई थी। नाबालिग की पिता की ओर से तीन लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कराया गया। पुलिस ने इस मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। हरिद्वार की पोक्सो अदालत में मामला चला और अदालत ने मुख्य अभियुक्त को फांसी की सजा सुना दी। साथ ही सजा की पुष्टि के लिये मामले को उच्च न्यायालय भेज दिया।
यही नहीं इस मामले के सह अभियुक्त को भी पांच साल की सजा व डेढ़ लाख रुपये का अर्थदंड लगाया गया था। तीसरे आरोपी को साक्ष्यों के अभाव में बरी कर दिया गया था। इस प्रकरण में गुरुवार को युगलपीठ में सुनवाई हुई। अदालत ने उच्च न्यायालय के रजिस्ट्रार कार्यालय से दो सप्ताह में जवाब देने को कहा है कि क्या फांसी की सजा के खिलाफ कोई अपील दायर तो लंबित नहीं है? रजिस्ट्री को दो सप्ताह में जवाब देने को कहा गया है। इस प्रकरण में अब दो सप्ताह बाद सुनवाई होगी।
अपने मोबाइल पर ताज़ा अपडेट पाने के लिए –
👉 व्हाट्सएप ग्रुप को ज्वाइन करें
👉 यूट्यूब चैनल को सब्सक्राइब करें
हमारे इस नंबर 7351098124 को अपने व्हाट्सएप ग्रुप में जोड़ें