देहरादून। उत्तराखंड एसटीएफ ने मैनुअल पुलिसिंग के जरिए 11 साल से फरार 50 हजार के इनामी अंतरराष्ट्रीय ड्रग तस्कर रवींद्र सिंह को नेपाल बॉर्डर से गिरफ्तार कर बड़ी सफलता हासिल की है। आरोपी, जो नेपाल में अपना ठिकाना बनाकर उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और दिल्ली में ड्रग्स की तस्करी कर रहा था, को बिहार के मोतीहारी जिले के नेपाल बॉर्डर से गिरफ्तार किया गया। एसएसपी एसटीएफ नवनीत सिंह भुल्लर ने जानकारी दी कि 2013 में नैनीताल के काठगोदाम थाना क्षेत्र में दर्ज एनडीपीएस मामले में रवींद्र सिंह और उसके साथी प्रदीप को 6.610 किलोग्राम चरस के साथ गिरफ्तार किया गया था। हालांकि, जमानत पर रिहा होने के बाद रवींद्र सिंह फरार हो गया और 50 हजार रुपये का इनामी घोषित हो गया। आरोपी ने नेपाल में अपना स्थायी ठिकाना बनाकर वहां से ड्रग्स का नेटवर्क खड़ा कर लिया था, जिसके जरिए वह उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और दिल्ली में चरस की तस्करी कर रहा था।
एसटीएफ टीम ने कई हफ्तों तक मोतीहारी में भेष बदलकर आरोपी के ठिकानों और उसके परिवार से मिलने वाले लोगों की रेकी की। इसके बाद आरोपी को नेपाल बॉर्डर से गिरफ्तार किया गया। पूछताछ में पता चला है कि आरोपी का नेटवर्क कई अंतरराष्ट्रीय ड्रग डीलरों से जुड़ा हुआ है। एसटीएफ को पूछताछ में कई महत्वपूर्ण सुराग मिले हैं, जिन पर आगे कार्रवाई की जाएगी। गिरफ्तार रवींद्र सिंह पहले भी नकली सिक्के, जाली नोट और सरकारी स्टाम्प बनाने के मामले में दिल्ली पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया जा चुका है। एसटीएफ टीम, जिसमें निरीक्षक अबुल कलाम के नेतृत्व में यादविंदर सिंह बाजवा, विध्या दत्त जोशी, कृपाल सिंह, संजय मेहरोत्रा, संजय कुमार, महेंद्र नेगी, मोहन असवाल और गोविंद बल्लभ शामिल थे, ने इस कार्रवाई को अंजाम दिया।