नैनीताल। मानसून की चेतावनी को देखते हुए नैनीताल की जिलाधिकारी एवं जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की अध्यक्ष वंदना ने एक उच्चस्तरीय वर्चुअल बैठक में जिले भर के सभी संबंधित अधिकारियों को आपातकालीन तैयारी के सख्त निर्देश दिए हैं। उन्होंने दो टूक कहा कि मानसून काल के दौरान किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी और हर अधिकारी संवेदनशीलता और गंभीरता से कार्य करें। बैठक में डीएम ने स्पष्ट किया कि किसी भी घटना से निपटने के लिए व्यवस्थाएं पूरी तरह दुरुस्त रहनी चाहिए। विशेषकर यदि कोई सड़क आठ घंटे से अधिक समय तक बंद रहती है, तो संबंधित कार्यदायी संस्था का अधिशासी अभियंता मौके पर जाकर मार्ग खोलने की जिम्मेदारी निभाएगा। स्वास्थ्य विभाग को निर्देशित किया गया है कि आगामी तीन महीनों के भीतर जिन गर्भवती महिलाओं का प्रसव संभावित है, उनके लिए अलग से नियंत्रण कक्ष बनाया जाए और नोडल अधिकारी नामित किए जाएं। सभी विकासखंडों से ऐसी महिलाओं की सूची दो दिन के भीतर तैयार कर ली जाए, विशेषकर जो दूरस्थ और संवेदनशील क्षेत्रों में निवास करती हैं। यदि कोई गर्भवती महिला पहले ही नगर के अस्पताल में आकर रहना चाहती है, तो उनके लिए रहने और इलाज की व्यवस्था की जाए ताकि उनका सुरक्षित प्रसव सुनिश्चित हो सके।
शिक्षा विभाग को भी चेताया गया है कि वर्षा ऋतु में सभी विद्यालयों का संचालन केवल सुरक्षित और पक्के भवनों में हो। किसी भी असुरक्षित या क्षतिग्रस्त विद्यालय भवन में शिक्षण कार्य कदापि न हो। डीएम ने दो दिन के भीतर ऐसे खतरनाक भवनों को ध्वस्त करने और सभी प्रधानाचार्यों से लिखित प्रमाण पत्र लेने के निर्देश दिए हैं। इसकी पूर्ण जिम्मेदारी मुख्य शिक्षा अधिकारी पर होगी। सड़कों के लंबे समय तक बंद रहने की स्थिति में किसी व्यक्ति को फंसे न रहने देने का दायित्व उपजिलाधिकारियों को सौंपा गया है। जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि मार्गों में फंसे यात्रियों के लिए आवश्यक सुविधा की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। आपदा से जुड़ी हर स्थिति की निगरानी के लिए अपर जिलाधिकारी प्रशासन एवं वित्त को प्रतिदिन की रिपोर्ट अपडेट करने के निर्देश भी दिए गए हैं। साथ ही सभी एसडीएम को निर्देशित किया गया है कि भारी बारिश के दौरान नदी-नालों के आस-पास के क्षेत्रों में लाउडस्पीकर से सूचना देकर तत्काल लोगों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित करें। सड़क निर्माण एजेंसियों को अपने क्षेत्र में तैनात जेसीबी ऑपरेटरों के मोबाइल नंबर सार्वजनिक करने और समय-समय पर उनकी उपलब्धता की पुष्टि करने के भी निर्देश दिए गए।