नैनीताल। उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने हल्द्वानी हिंसा के आरोपियों की शनिवार को हुई सुनवाई के बाद आज 50 आरोपियों को ज़मानत दे दी है। इनमें 6 महिलाएं भी शामिल हैं। जमीयत उलेमा-ए-हिन्द के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी के निर्देश पर जमीयत उलेमा हल्द्वानी की लोकल बॉडी ने इस मामले में लगातार प्रयास किए। मौलाना मोहम्मद आसिम, इमाम मस्जिद बिलाली और सदर जमीयत उलेमा हल्द्वानी, ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट की सीनियर एडवोकेट नित्या रामा कृष्णन की अगुवाई में नैनीताल हाईकोर्ट में मामले की सुनवाई चल रही थी। अल्लाह के करम और दुआओं से 50 लोगों की ज़मानत मंजूर हो गई है, और शेष आरोपियों की ज़मानत के लिए भी कार्यवाही जारी है।
इस मामले की पैरवी जमीयत उलमा ए हिंद की ओर से एडवोकेट नित्या रामा कृष्णन, एडवोकेट शाहिद नदीम, एडवोकेट मुजाहिद अहमद, सीनियर एडवोकेट सीके शर्मा, नितिन तिवारी, मनीष पांडे, विजय पांडे, एडवोकेट दानिश, एडवोकेट आसिफ और एडवोकेट ज़मीर ने की। साथ ही, सामाजिक कार्यकर्ता मौलाना मुकीम, नगर सदर मौलाना कासिम और सोशल एक्टिविस्ट उजैर अहमद ने भी शुरुआत से ही इस मामले में पैरवी की थी।